कांग्रेस ने रायगंज लोकसभा सीट से अपने उम्मीदवार की घोषणा कर दी है। ग्वालपोखर व चाकुलिया से तीन बार विधायक रहे अली इमरान रम्ज़ ‘विक्टर’ रायगंज से कांग्रेस के प्रत्याशी बनाए गए हैं। टिकट मिलने के बाद उन्होंने टीएमसी और भाजपा दोनों को एक ही टीम बताया है। ‘मैं मीडिया’ से ख़ास बातचीत में उन्होंने कहा कि रायगंज में टीएमसी का कोई उम्मीदवार नहीं है। टीएमसी ने भाजपा से भाड़े पर लाकर उम्मीदवार खड़ा कर दिया है।
ग्वालपोखर से विधायक और टीएमसी नेता गुलाम रब्बानी ने अपने एक्स हैंडल पर लिखा कि कांग्रेस ने रायगंज से सबसे कमज़ोर प्रत्याशी को टिकट दिया है। इसपर उन्होंने कहा, “रब्बानी साहब को यह जवाब देना चाहिए कि टीएमसी सुप्रीमो ममता बनर्जी को रायगंज लोकसभा में टीएमसी में एक भी उम्मीदवार नहीं मिला, जो उन्हें भाजपा से भाड़े पर लेकर उम्मीदवार खड़ा करना पड़ रहा है।”
आगे उन्होंने कहा कि टीएमसी, लीडर तैयार नहीं कर पाती है और हर बार माफियाओं को चुनाव में लड़ाती है। कांग्रेस के टिकट पर उनकी उम्मीदवारी काफी मजबूत है और लोग चाहते हैं कि रायगंज लोकसभा सीट से अपने इलाके का उम्मीदवार जीत कर संसद पहुंचे।
वहीं, वोट बंटवारे उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और ममता बनर्जी एक ही हैं और इस बार चुनाव में सीधे सीधे कांग्रेस और भाजपा में लड़ाई है क्योंकि टीएमसी का उम्मीदवार भी भाजपा का ही है। उन्होंने यह भी कहा कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की पार्टी पर भ्रष्टाचार के कई आरोपों के बावजूद पुलिस और सीबीआई आज तक जांच करने नहीं पहुंची, यह बताता है कि टीएमसी की बीजीपी के साथ मिली भगत है।
अली इमरान रम्ज़ विक्टर 2009 पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव में ग्वालपोखर से पहली बार विधायक चुने गए। 2011 में नवनिर्मित विधानसभा सीट चाकुलिया से उन्होंने जीत हासिल की और 2016 में दोबारा चाकुलिया के MLA बने। 2021 विधानसभा चुनाव में वह तीसरे स्थान पर रहे थे। 2009 से 2021 तक उन्होंने फॉरवर्ड ब्लॉक के टिकट से चुनाव लड़ा था। 2022 में वह कांग्रेस में शामिल हो गए।
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