बिहार के अररिया में सामाजिक संस्था ‘छांव फाउंडेशन’ ने अपना दूसरा सिलाई प्रशिक्षण केंद्र खोला है। प्रशिक्षण केंद्र पर महिलाएं सिलाई सीख इसे अपनी रोज़ी-रोटी का ज़रिया भी बना सकेंगी। यह प्रशिक्षण केंद्र ककुड़वा वार्ड नंबर-28 में खोला गया है। सेंटर में फिलहाल फाउंडेशन ने पांच सिलाई मशीनें दी हैं। ये मशीनें छांव फाउंडेशन के अलग-अलग डोनर ने उपलब्ध कराया है।
स्थानीय महिलाएं और युवतियां इस सिलाई ट्रेनिंग सेंटर से नि:शुल्क प्रशिक्षण प्राप्त कर पाएंगी। प्रशिक्षण की अवधि तीन महीने की होगी और प्रशिक्षण प्राप्त अभ्यर्थियों को सेंटर की तरफ से प्रमाण पत्र दिया जाएगा।
Also Read Story
ट्रेनिंग सेंटर में बीबी जन्नती बतौर प्रशिक्षक कार्य करेंगी। गौरतलब है कि इस सेंटर के लिए बीबी जन्नती ने ही जगह मुहैया करायी है। शाकिब रहमान उर्फ लाल बाबू ने भी इस सेंटर को स्थापित करने में अहम भूमिका निभाई है।
एक बैच में तीस महिलाएं लेंगी प्रशिक्षण
इस सेंटर पर प्रथम बैच में कुल तीस महिलाएं प्रतिदिन अलग-अलग सत्र में प्रशिक्षण प्राप्त कर सकेंगी। प्रशिक्षण प्राप्त करने के बाद यदि कोई अभ्यर्थी इस हुनर को अपना रोजगार बनाना चाहे, तो जरूरतमंद को छांव फाउंडेशन सहयोग करेगा।
उल्लेखनीय है कि छांव फाउंडेशन द्वारा पहला सिलाई ट्रेनिंग सेंटर अररिया प्रखंड अंतर्गत बनगामा पंचायत के खैरुगंज गांव में फरवरी महीने में खोला गया था। उस सेंटर से अबतक साठ बच्चियां प्रशिक्षण प्राप्त कर चुकी हैं। खैरुगंज केंद्र पर दो महिला प्रशिक्षक कार्यरत हैं।
सिलाई ट्रेनिंग सेंटर के लोकार्पण के मौके पर जिला सद्भावना मंच के सचिव व शिक्षाविद मो. मोहसिन, छांव फाउंडेशन के अध्यक्ष व समाजसेवी दीपक दास और फाउंडेशन के सचिव प्रोफेसर ज़ाहिद अनवर मौजूद थे।
साथ ही फाउंडेशन के सदस्य शब्बीरुल हक़, अफ्फान कामिल, तौसीफ अनवर, मेराज खान, रजी अनवर, एखवान कामिल, आमिर रजा, तारिक अनवर, सरफराज आलम, शहजादुर रहमान, शहबाज, काशिफ के अलावा बड़ी संख्या में स्थानीय लोग कार्यक्रम में उपस्थित थे।
सामाजिक मुद्दों पर काम करती है ‘छांव फाउंडेशन’
सामाजिक संस्था छांव फाउंडेशन अररिया स्थित एक गैर-सरकारी संगठन (एनजीओ) है, जो विभिन्न सामाजिक मुद्दों पर काम करती है। सिलाई प्रशिक्षण केंद्र के अलावा फाउंडेशन ने पिछले साल टाउन हॉल के पास मुख्य सड़क के किनारे एक “फ्री फुटपाथ लाइब्रेरी” की भी शुरुआत की थी, जहां कोई भी आकर पढ़ाई कर सकता था।
साथ ही फाउंडेशन ने आज़ाद नगर इलाके में एक पब्लिक लाइब्रेरी शुरू की है, जहाँ रोज़ाना छात्र और आम लोग आकर किताबें पढ़ते हैं। यह सार्वजानिक पुस्तकालय पूरी तरह से निःशुल्क है और इसका खर्च फॉउंडेशन के सदस्यों द्वारा वहन किया जाता है।
इसी साल फरवरी महीने में छांव फाउंडेशन ने ‘अररिया लिटररी फेस्टिवल’ नाम से एक सांस्कृतिक कार्यक्रम भी आयोजित किया था, जिसमें उर्दू-हिंदी साहित्य और शायरी जगत की मशहूर हस्तियां शामिल हुई थीं।
सीमांचल की ज़मीनी ख़बरें सामने लाने में सहभागी बनें। ‘मैं मीडिया’ की सदस्यता लेने के लिए Support Us बटन पर क्लिक करें।