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बिहार में सूचना प्रौद्योगिकी को बढ़ावा देने के लिए बनी आईटी पॉलिसी, क्या है खास बातें?

आईटी पॉलिसी 2024 के माध्यम से राज्य में आईटी अनुकूल औद्योगिक माहौल पैदा कर इस सेक्टर के अनुकूल नीतियां बनाना है कि ताकि राज्य में आईटी सेक्टर में कंपनियों की आमद हो।

Ariba Khan Reported By Ariba Khan |
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हाल ही में बिहार सरकार ने आईटी पॉलिसी 2024 की शुरुआत की है। इसका मुख्य उद्देश्य बिहार में आईटी इंडस्ट्री को बढ़ावा देना है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में 8 जनवरी को कैबिनेट की बैठक में इस पॉलिसी को मंज़ूरी दी गयी है।

आईटी पॉलिसी 2024 के माध्यम से राज्य में आईटी अनुकूल औद्योगिक माहौल पैदा कर इस सेक्टर के अनुकूल नीतियां बनाना है कि ताकि राज्य में आईटी सेक्टर में कंपनियों की आमद हो।

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बिहार के सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री इसराइल मंसूरी ने कहा कि आईटी पॉलिसी 2024 को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उप-मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव की व्यक्तिगत पहल पर मंज़ूरी दी गयी है। वह कहते हैं कि नई पॉलिसी से बिहार, बिहार से बाहर या देश के बाहर रहने वाले लोग यहां आकर आईटी के क्षेत्र में रोजगार कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि आईटी के क्षेत्र में बिहार के युवाओं को रोजगार का अवसर मिलेगा।


विभाग के सचिव अभय कुमार ने कहा कि जो उद्योगपति बिहार में आईटी के क्षेत्र में पूंजी निवेश करना चाहते हैं, उनको 30% का अनुदान दिया जाएगा। यानी 100 करोड़ में 30 करोड़ रुपये का अनुदान सरकार की ओर से दिया जाएगा। अगर कोई अनुदान पर काम नहीं करना चाहता है, तो उसे 10% वार्षिक ब्याज का अनुदान मिलेगा।

आईटी पॉलिसी 2024 के चार मुख्य उद्देश्य

वित्तीय और संस्थागत सुधारों के माध्यम से राज्य में आईटी इंफ्रास्ट्रक्चर और इकोसिस्टम तैयार करना, आईटी क्षेत्र में राज्य के युवाओं के लिए रोज़गार के अवसर बढ़ाना और उनकी रोज़गार क्षमता को बढ़ावा देना, राज्य में आईटी/आईटीईएस और ईएसडीएम क्षेत्र में नवाचार को बढ़ावा देकर स्टार्टअप को आगे बढ़ने के लिए सशक्त करना और बिहार को आईटी/आईटीईएस और आईएसडीएम कंपनियों के लिए एक आकर्षक निवेश स्थल के रूप में विकसित करना, इसका मुख्य उद्देश्य है।

युवाओं को कैसे मिलेगा रोज़गार

माना जा रहा है कि इस पॉलिसी के प्रभाव में आने के बाद बिहार के आईटी सेक्टर में निवेश काफी हद तक बढ़ेगा। इससे राज्य के युवाओं के लिए इस सेक्टर में रोज़गार के अवसर बढ़ने की संभावनाएं होंगी।

आईटी नीति के तहत, आईटी कंपनियों को 100 करोड़ से अधिक के निवेश करने या राज्य में कम से कम एक हज़ार IT रोज़गार सृजन करने पर पैकेज दिया जाएगा।

रोज़गार सृजन में सरकार द्वारा आईटी कंपनियों को सब्सिडी दी जाएगी और नियोक्ता द्वारा EPF और ESI जमा की गयी राशि की 100 प्रतिशत प्रतिपूर्ति की जाएगी। यह प्रोत्साहन राशि अधिकतम पांच सालों तक देय होगी और इसकी अधिकतम सीमा 5,000 रुपये प्रति महीना और प्रति कर्मचारी होगी।

आईटी कंपनियों को मिलेगी बिजली टैरिफ और लीज़ रेंटल सब्सिडी

सरकार IT कंपनियों द्वारा लीज़ पर ली गयी ज़मीन में रेंटल सब्सिडी देगी। कंपनियों को पांच वर्षों तक हर साल किराये की राशि का 50 प्रतिशत रेंटल प्रोत्साहन प्राप्त करने का अवसर मिलेगा, जो कि उन्हें पूर्ण रूप से मिलेगा। इसके लिए ज़रूरी है कि कंपनी का कार्यस्थल केवल बिहार राज्य में हो। साथ ही सरकर द्वारा IT कंपनियों को बिजली टैरिफ के सालाना भुगतान पर भी सब्सिडी दी जाएगी। कंपनियों को सालाना बिजली बिल पर पांच साल तक 25 प्रतिशत की प्रतिपूर्ति करेगी।

इस नीति के तहत पांच करोड़ के न्यूनतम फिक्स्ड कैपिटल इन्वेस्टमेंट वाली IT, ITES, और ISDM कंपनियों को 30 प्रतिशत का सब्सिडी सपोर्ट दिया जाएगा, जिसकी अधिकतम सीमा 30 करोड़ रुपये तक होगी।

38 इंजीनियरिंग व 46 पॉलिटेक्निक कॉलेज परिसरों का निर्माण

आईटी पॉलिसी 2024 के तहत राज्य के 38 सरकारी इंजीनियरिंग कॉलेज और 46 पॉलिटेक्निक कॉलेज परिसर के निर्माण और इंटरनेट आदि की सुविधा के लिए 47.15 करोड़ रुपये की मंज़ूरी दी गयी है। इसके अलावा कैबिनेट ने गया ज़िले में उद्योगिक कॉरिडोर के लिए 636 एकड़ से अधिक ज़मीन बियाडा को उपलब्ध कराने की मंज़ूरी दी है, जिसमें इंडस्ट्रियल मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर की स्थापना होगी।

आईटी पालिसी 2024 के लक्षित क्षेत्र

राज्य सरकार का मानना है कि राज्य की अर्थव्यवस्था में आईटी/ आईटीईएस और आईएसडीएम क्षेत्र का प्रमुख योगदान है। इसलिए इस पॉलिसी के माध्यम से सरकार अपने प्रयासों को कुछ प्रमुख क्षेत्रों की ओर केंद्रित कर रही है।

इसमें आईटी उत्पाद, सॉफ्टवेयर और सेवाएं, नॉलेज प्रोसेस आउटसोर्सिंग (KPO), कॉल सेंटर सॉफ्टवेयर विकास केंद्र, चिप निर्माण और डिज़ाइन, कंप्यूटर या पेरिफेरल्स और अन्य कार्यालय उपकर, सेमीकंडक्टर्स, सर्वर और डिवाइस, संचार और नेटवर्किंग उपकरण, ऑटोमेटिव इलेक्ट्रॉनिक, मेडिकल इलेक्ट्रॉनिक्स, औद्योगिक इलेक्ट्रॉनिक्स, टेलीकॉम इलेक्ट्रॉनिक्स क्षेत्र शामिल हैं।

इसके आलावा सौर फोटो वोल्टाइक सेल और सौर पैनल, एनिमेशन, एलईडी, वेब डिजाइनिंग, एम्बेडेड सॉफ्टवेयर, रक्षा इलेक्ट्रॉनिक उपकरण, आईटी प्लेटफाॅर्म, ड्रोन निर्माण, इ-वेस्ट रीसाइक्लिंग जैसे क्षेत्रों में भी निवेश किया जाएगा।

नई पॉलिसी को लेकर तेजस्वी ने किया सोशल मीडिया पर पोस्ट

नई आईटी पालिसी को मंजूरी के बाद तेजस्वी यादव ने एक्स पर लिखा कि बिहार की महागठबंधन सरकार ने पहली बार प्रदेश में बिहार आईटी पॉलिसी 2024 को स्वीकृति दी है।

तेजस्वी ने आगे लिखा कि नई आईटी पॉलिसी के अंतर्गत आईटी क्षेत्र में कार्यरत कंपनियों, निवेशकों और रोजगार प्रदाताओं को न्यूनतम 𝟓 से 𝟑𝟎 करोड़ रुपये निवेश करने पर 𝟑𝟎 फीसदी की पूंजी निवेश सब्सिडी हमारी सरकार देगी। साथ ही बिहार में कंपनी खोलने पर 50 फीसदी लीज रेंटल सब्सिडी अर्थात किराए का भुगतान और 25% कंपनी के बिजली का खर्च भी सरकार देगी।

तेजस्वी ने कहा कि महागठबंधन की हमारी सरकार ने मुख्यमंत्री जी के नेतृत्व में नई आईटी को मंजूरी दी है। इसके तहत आईटी सेक्टर में निवेशकों, रोजगार प्रदाताओं और आईटी कंपनियों को बड़ी राहत प्रदान की गई है।

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अरीबा खान जामिया मिलिया इस्लामिया में एम ए डेवलपमेंट कम्युनिकेशन की छात्रा हैं। 2021 में NFI fellow रही हैं। ‘मैं मीडिया’ से बतौर एंकर और वॉइस ओवर आर्टिस्ट जुड़ी हैं। महिलाओं से संबंधित मुद्दों पर खबरें लिखती हैं।

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