बिहार में बाढ़ अभी नहीं आयी है। लेकिन, बारिश के पानी से ही जगह-जगह बाढ़ जैसे हालात हैं। ये पूर्णिया ज़िले में नेशनल हाईवे से कुछ ही दूर स्थित एक गाँव है। लगभग 200 परिवारों की ये बस्ती ज़िले के एक मुख्य मार्ग बायसी-अमौर सड़क पर स्थित है। गाँव का नाम बजरडीह है और मोहल्ले […]
भारतीय मौसमविज्ञान विभाग (IMD) ने एक Special Weather Bulletin ज़ारी कर अगले छः दिनों तक बिहार के सीमांचल सहित कई अन्य ज़िलों में सामान्य से भारी बारिश और अतिवृष्टि का पूर्वानुमान लगाया है।
अररिया शहर की आबादी का एक हिस्सा आज भी आवागमन की असुविधाओं से जूझ रहा है। नगर परिषद वार्ड नबंर 29 के मरया टोला तक जाने के लिए परमान नदी को पार करना होता है, जहाँ आवागमन का एक मात्र सहारा नाव ही है। सरकारी सुविधा से वंचित इस शहरी इलाके में नगर परिषद की कोई सुविधा नहीं है।
जल आपदा के आदी हो चुके पूर्णिया ज़िले के बायसी अनुमंडल की जनता मानसून की पहली बारिश में कटाव का दंश झेलने पर मजबूर है। सात नदियों से घिरे बायसी में महानंदा, परमान और कनकई नदी के कटाव ने कई गांवों पर अपना असर दिखाना शुरू कर दिया है।
चेतावनी जारी करते हुए कहा गया है की बंगाल की खाड़ी में चक्रवात की स्थिति पैदा होने के कारण जिले में तेज हवा के साथ आंधी तूफान व तेज बारिश होने की संभावना है।
किशनगंज अंतर्गत कोचाधामन के बगलबारी पंचायत के लगभग 150 परिवार महानंदा ब्रिज के नीचे खुले आसमान के नीचे शरण लिए हुए हैं।
अररिया के फारबिसगंज में बाढ़ में फंसे दूल्हा दुल्हन और बारातियों को ड्राम का नाँव बनाकर विदाई दी गयी
लगातार हो रही बारिश तथा महानंदा और डोंक बैराज से पानी छोड़े जाने से किशनगंज जिले के कई इलाकों में बाढ़ जैसी स्थिति उत्पन्न हो गई है।
अररिया के मदनपुर में सैलाब का पानी भर चुका है, मेन मार्केट में कई फीट पानी सड़कों पर है। आवागमन पूरी तरह बाधित है, लोग जान बचाने के लिए ऊंचे स्थानों पर जा रहे हैं।