Main Media

Seemanchal News, Kishanganj News, Katihar News, Araria News, Purnea News in Hindi

Support Us

जर्जर भवन में जान हथेली पर रखकर पढ़ते हैं कदवा के नौनिहाल

विद्यालय की प्रधानाध्यापिका ने बताया कि इस प्राथमिक विद्यालय में 101 बच्चे नामांकित हैं। लेकिन जर्जर भवन की वजह से बहुत सारे अभिभावक बच्चों को पढ़ने नहीं भेजते हैं।

Aaquil Jawed Reported By Aaquil Jawed |
Published On :

काफी जर्जर मकान के एक कमरे की छत का प्लास्टर झड़ चुका है। उसकी दरार पड़ी दीवार पर भारत के पूर्व प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू, इंदिरा गांधी और राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की तस्वीर लगी है। कमरे के नीचे दीमक मिट्टी का ढेर लगा रहा है। कोने में कुछ लकड़ी के बेंच पड़े हैं, जिन्हें दीमक ने खोखला कर दिया है। बरामदे की छत में से प्लास्टर पूरी तरह झड़ चुका है। सूरज की रोशनी एक बड़े छेद से नीचे पहुंच रही है, जहां कुछ बच्चे चटाई पर बैठकर पढ़ रहे हैं। यह कटिहार जिले के कदवा प्रखंड अंतर्गत मधाईपुर पंचायत में स्थित प्राथमिक विद्यालय बहादुरपुर है।

स्कूल के पास रहने वाली यासमीन खातून के 3 बच्चे इसी स्कूल में पढ़ते हैं। उन्होंने बताया कि स्कूल की छत कभी भी टूट कर नीचे गिर सकती है। हमेशा डर बना रहता है कि बच्चों के साथ कोई अनहोनी न हो जाए। बच्चे स्कूल जाने से डरते हैं और बरसात के दिनों में तो बिल्कुल नहीं जाते हैं। सरकार को जल्द से जल्द नया स्कूल भवन बनाना चाहिए।

Also Read Story

रोजाना 63 रु. मजदूरी, आठ घंटे काम – एमडीएम बनाने वालों की दुखद कहानी

Bihar Board 10th Result 2023: आइएएस ऑफिसर बनना चाहती है बिहार बोर्ड की मैट्रिक सेकंड टॉपर ज्ञानी अनुपमा

Bihar Board 10th Result 2023: बिहार मैट्रिक टॉपर मो. रूमान अशरफ़ के बारे में जानिए सब कुछ

Bihar Board 10th Topper मो रुमान अशरफ, सीमांचल से इन छात्रों ने लाया रैंक

सहरसा: बिना भवन के इस स्कूल में खुले आसमान के नीचे पढ़ने पर मजबूर बच्चे

बीपीएससी 68वीं प्रारंभिक परीक्षा का रिजल्ट घोषित

ऐच्छिक स्थानांतरण का लाभ शिक्षकों को भी मिलेगा : शिक्षा मंत्री

टीन की छत, ज़मीन पर बच्चे, ये बिहार का प्राइमरी स्कूल है

Bihar Board 12th Result: Arts में पहले दो स्थान पर पूर्णिया की बेटियां मोहद्देसा और प्रज्ञा

सुब्हान अली स्थानीय ग्रामीण हैं। उनका कहना है कि इस स्कूल में बच्चे जान हथेली पर रखकर बैठते हैं और शिक्षक भी जान हथेली पर रखकर इस स्कूल में पढ़ाते हैं। उनका कहना है कि जब तक यहां नया स्कूल भवन नहीं बन जाता है, शिक्षा विभाग को चाहिए कि जल्द से जल्द इसे कहीं दूसरी जगह शिफ्ट कर दे।


मोहम्मद सिकंदर अंसारी के दो बच्चे इसी स्कूल में पढ़ते हैं। उनका कहना है कि सरकार जल्द से जल्द यहां नया स्कूल भवन बनाए, अन्यथा स्कूल बंद कर दे क्योंकि बरसात के दिनों में डर से बच्चे पढ़ने नहीं आते हैं। छत कभी भी गिर सकती है।

विद्यालय की प्रधानाध्यापिका बबीता रानी साह ने बताया कि इस प्राथमिक विद्यालय में 101 बच्चे नामांकित हैं। लेकिन जर्जर भवन की वजह से बहुत सारे अभिभावक बच्चों को पढ़ने नहीं भेजते हैं। नए भवन के लिए कई बार प्रखंड मुख्यालय और जिला मुख्यालय में आवेदन दिया जा चुका है लेकिन सालों बीत जाने के बाद भी कुछ नहीं हुआ।

इस मामले को लेकर जब कदवा प्रखंड के प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी राजमणि महतो से फ़ोन पर बात की गई तो उन्होंने कहा कि वह विद्यालय जाकर भवन का निरीक्षण करेंगे और उसके बाद जो भी जरूरी होगा, कदम उठाएंगे।

सीमांचल की ज़मीनी ख़बरें सामने लाने में सहभागी बनें। ‘मैं मीडिया’ की सदस्यता लेने के लिए Support Us बटन पर क्लिक करें।

Support Us

Aaquil Jawed is the founder of The Loudspeaker Group, known for organising Open Mic events and news related activities in Seemanchal area, primarily in Katihar district of Bihar. He writes on issues in and around his village.

Related News

BSEB Intermediate Topper 2023 – पूर्णिया की मोहद्देसा ने किया स्टेट टॉप, आर्ट्स में 475 अंक

बिहार बोर्ड की 12वीं का रिजल्ट जारी, लड़कियों ने मारी बाजी

जल्द घोषित होगा बिहार इंटर का रिजल्ट

अररिया जिले के 96 शिक्षकों की सेवा समाप्ति का आदेश

पूर्णिया विश्वविद्यालय में सीनेट की बैठक, राज्यपाल का साथ मिलकर काम करने का आह्वान

कदवा प्रखंड के स्कूलों में शिक्षकों की भारी कमी

सिग्निफिकेंस ऑफ स्किल्स: रीसेंट ट्रेंड विषय पर राष्ट्रीय सेमिनार आयोजित

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Latests Posts

Ground Report

हाथियों के उत्पात से दहशत, पांच मौत, घर व फसल तबाह

पूर्णिया: अवैध भवनों को सील करने की नगर आयुक्त की कार्रवाई पर उठे सवाल

तैयारियों के बाद भी नहीं पहुंचे CM, राह तकता रह गया पूर्णिया का गाँव

जर्जर भवन में जान हथेली पर रखकर पढ़ते हैं कदवा के नौनिहाल

ग्राउंड रिपोर्ट: इस दलित बस्ती के आधे लोगों को सरकारी राशन का इंतजार