पिछले दिनों सीमांचल में खाद के लिए भगदड़ मच जाने के बाद उम्मीद की जा रही थी कि सरकार इलाके में खाद की किल्लत को जल्द दूर कर देगी। मगर, यहां खाद की किल्लत अब भी बरकरार है।
बुआई का सीजन हाथ से निकलता देख किसान परेशान हैं और खाद के लिए दर-दर भटक रहे हैं।
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पिछले कुछ दिनों में खाद की नियमित सप्लाई की मांग पर किसानों और राजनीतिक दलों ने जगह जगह प्रर्दशन किया।
पिछले गुरुवार की सुबह 6 बजे से अररिया के खरेहिया बस्ती स्थित खाद दुकान पर सैकड़ों लोग लाइन में लगे रहे। वहीं सुरक्षा व्यवस्था के मद्देनजर जिला प्रशासन द्वारा नगर थाने की पुलिस को भी तैनात किया गया था। लेकिन बहुत किसानों को खाली हाथ लौटना पड़ा।
किसानों का कहना है कि उन्हें खाद नहीं मिली तो गेहूं और मक्के की पैदावार नहीं होगी, जिस वजह से किसानों को काफी नुकसान का सामना करना पड़ेगा। स्थानीय किसानों का कहना था कि पिछले 10 दिनों से वे लगातार खाद लेने के लिए खाद की दुकान पर आ रहे हैं लेकिन उन्हें खाद नहीं मिल पा रहा है।
दूसरी तरफ, इस जिले के सैकड़ों किसान खाद की मांग को लेकर शनिवार की सुबह सैकड़ों की संख्या में टाउन हॉल के समीप जुटे और सड़क को जाम कर दिया था।
किसानों की शिकायत थी कि एक तो खाद मिल नहीं रही है और जो मिल भी रही है तो उसे महंगी कीमत पर बेची जा रही है।
टाउनहॉल के नजदीक प्रर्दशन करने वाले किसानों का आरोप था कि एक बोरी यूरिया की कीमत 266 रुपए है, लेकिन दुकानदार उसे 300 से 400 रुपए में बेच रहे हैं। प्रर्दशनकारी किसानों का ये भी कहना था कि उन लोगों ने दुकानदार से सरकार द्वारा निर्धारित दर पर खाद देने की मांग की, तो दुकानदार दुकान बंद कर फरार हो गया। इससे आक्रोशित होकर किसानों ने सड़क पर टायर भी जलाया।
किसानों का कहना था कि कृषि में इस्तेमाल होने वाले सामान की कीमत पहले से बढ़ी हुई है, उस पर खाद के दाम में इजाफा कृषि की लागत बढ़ा देगी, लेकिन बाजार में अनाज की वो कीमत नहीं मिलेगी जिससे उन्हें भारी नुकसान हो जाएगा।
इसी तरह, फारबिसगंज के हॉस्पिटल रोड को भी किसानों ने जाम कर दिया था। रामपुर, हरिपुर, डुमरिया, जोगबनी, अम्हारा सहित अन्य जगहों से प्रदर्शन में शामिल हुए किसानों ने खाद की जल्द आपूर्ति कराने और खाद की कालाबाजारी खत्म करने की मांग की। प्रदर्शनकारी किसानों में शामिल ललन मंडल बरटपुर, राजेन्द्र मंडल, सबीना, बिमल देवी और अन्य किसानों ने बताया कि वे सुबह 4 बजे से ही लाइन में लगे हुए थे लेकिन खाद रहते हुए भी दुकानदार ने खाद नहीं दी।
उधर, अररिया के रामपुर मोहनपुर चौक पर अररिया किसान एकता संघ और अररिया के मुद्दे के फैजल यासीन की ओर से खाद पंचायत का आयोजन किया गया।
फैसल यासीन ने बताया कि खाद की समस्या से किसानों को जूझना पड़ रहा है, अगर खाद की कमी दूर न हुई, तो लोग भुखमरी की कगार पर आ जाएंगे।
पंचायत में मौजूद एक किसान ने बताया कि अगर खाद नहीं मिली, तो उनके जैसे हजारों किसान भुखमरी की कगार में आ जाएंगे। वहीं, आम जनता को भी बहुत दिक्कतों का सामना करना पड़ेगा क्योंकि आनाज नहीं उगेगा तो लोग क्या खाएंगे। किसान के साथ-साथ आम जनता भी भूखी मर जाएगी।
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