बीते शनिवार को कटिहार जिले के आजमनगर प्रखंड अंतर्गत चौलहर पंचायत के उत्क्रमित मध्य विद्यालय चौलहर सह प्लस टू उच्च माध्यमिक विद्यालय चौलहर के जर्जर भवन को लेकर स्कूली बच्चों ने आंदोलन किया। इस विद्यालय में कक्षा 1 से 12 वीं तक के लगभग पांच सौ छात्र छात्राओं का नामांकन है, परंतु विद्यालय के पास केवल दो ही कमरे का भवन है, जिसकी स्थिति जर्जर है।
लगातार हो रही बारिश के कारण विद्यालय की छत टपक रही है, जिससे बच्चों के पठन-पाठन में काफी परेशानी हो रही है। विद्यालय की जर्जर व्यवस्था को लेकर स्थानीय मुखिया और ग्रामीणों ने समय-समय पर नया भवन बनवाने की मांग की। यहां तक कि शिक्षा मंत्री को भी पत्र लिखा गया, लेकिन अब तक कुछ नहीं हुआ।
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इसी बीच शनिवार को अचानक विद्यालय की छत का कुछ हिस्सा नीचे गिर गया, जिसके बाद छात्र डर गए। छात्रों को डरे सहमे स्कूल के बाहर खड़े देख अभिभावक भी पहुंच गए। देखते ही देखते आक्रोषित छात्रों और अभिभावकों ने आजमनगर से दिल्ली दीवानगंज जाने वाली मुख्य सड़क को जाम कर दिया। उन्होंने शिक्षा विभाग मुर्दाबाद और शिक्षा पदाधिकारी मुर्दाबाद के नारे लगाना शुरू कर दिया।
घंटों बीत जाने के बाद भी जब छात्र नहीं उठे तो मामले की गंभीरता को देखते हुए आजमनगर के प्रखंड विकास पदाधिकारी कुमार मुकेश सहित शिक्षा विभाग के कर्मी भी पहुंचे, साथ ही आजमनगर थाना प्रभारी कुंदन कुमार सिंह भी दलबदल के पहुंचे, तो उन्हें बच्चों और ग्रामीणों के गुस्से का सामना करना पड़ा।
निजी कोष से टीन और चचरी टांग कर बैठाते हैं शिक्षक
उत्क्रमित मध्य विद्यालय चौलहर सह प्लस टू उच्च माध्यमिक विद्यालय चौलहर में कुल 18 शिक्षक और 497 बच्चे नामांकित हैं, जिसके लिए सिर्फ दो कमरे का ही विद्यालय भवन है। बच्चों को पढ़ाने के लिए प्रधानाध्यापक तथा सहायक शिक्षकों द्वारा अपने निजी कोष से बांस व टीन की चचरी लगाकर बाहर क्लास लगवाया जाता है।
पिछले कई दिनों से लगातार बारिश होने के कारण विद्यालय का भवन टपकने लगा तथा आज भरी क्लास में ऊपर से सीमेंट गिरने लगा। हालांकि इससे किसी छात्र को कोई क्षति नहीं हुई, परंतु विद्यालय में बैठकर पढ़ने लायक जगह भी नहीं बची है।
छत से पानी टपकने के कारण कमरे में रखे मिड-डे-मील का चावल व अन्य सामान भी भीग कर खराब हो रहा है।
शिक्षा मंत्री को पत्र लिखकर कराया गया है अवगत
छात्रों के साथ सड़क जाम में बैठे अजहर निजामी ने मैं मीडिया को बताया, “इस विद्यालय भवन की जर्जर हालत को लेकर 2012 से ही प्रखंड विकास पदाधिकारी को सूचना दी जाती रही है। इसके अलावा जिला शिक्षा पदाधिकारी व राज्य के तत्कालीन शिक्षा मंत्री प्रोफेसर चंद्रशेखर को ज्ञापन भी सौंपा गया, परंतु इस दिशा में किसी ने कोई कदम नहीं उठाया गया। आजमनगर प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी समस्याओं का समाधान करने से पल्ला झाड़ते हुए यह कहते दिखते हैं कि विद्यालय के पास भूमि उपलब्ध नहीं रहने के कारण भवन निर्माण कार्य नहीं कराया जा सकता है।”
“जब नियंत्री पदाधिकारी इस तरह समस्याओं का समाधान करने के बजाए समस्याओं से दूर भागेंगे तो ऐसे में अधर में लटके लगभग 500 छात्र छात्राओं के भविष्य की जिम्मेदारी कौन लेगा?” उन्होंने पूछा।
बीडीओ और मास्टर मुजाफ के आश्वासन पर छात्रों ने ख़त्म किया प्रदर्शन
प्रखंड विकास पदाधिकारी और जनप्रतिनिधियों के आश्वासन पर छात्र-छात्राओं ने तीन घंटे सड़क जाम करने के बाद प्रदर्शन को खत्म किया। छात्र सबसे ज्यादा शिक्षा विभाग के बीआरपी शिक्षक मुजाफ हुसैन की बातों से प्रभावित हुए।
छात्रों को समझाते हुए बीडीओ कुमार मुकेश ने कहा, “तत्काल बारिश से बचने के लिए कोई ना कोई इंतजाम कर लिया जाएगा। भवन का निरीक्षण करने के लिए जेई को बुलाकर जो संभव होगा, किया जाएगा।” बीडीओ ने कहा
मीडिया को संबोधित करते हुए प्रखंड विकास पदाधिकारी ने कहा कि तत्काल जो भी सकारात्मक कदम समाधान के लिए हों, उठाए जाएंगे। विद्यालय की रिपेयरिंग भी की जाएगी। इसके अलावा उन्होंने ग्रामीणों से अपील करते हुए कहा कि अगर पंचायत क्षेत्र में कहीं भी कोई सरकारी भूमि हो, जहां पर विद्यालय बन सके तो तो ध्यान आकृष्ट कराएं, सरकार के पास पैसा है, नया विद्यालय भवन बना दिया जाएगा।
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