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बेलागंज विधानसभा उपचुनाव: क्या विश्वनाथ यादव जारी रख पाएंगे अपने पिता सुरेंद्र यादव की जीत का रिकॉर्ड?

बेलागंज एक ऐसा विधानसभा क्षेत्र है, जहाँ पिछले 34 सालों से एक ही नेता की तूती बोल रही है।

Tanzil Asif is founder and CEO of Main Media Reported By Tanzil Asif |
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बिहार की चार विधानसभा सीटों पर चुनाव का ऐलान हो गया है। कैमूर ज़िले के रामगढ़, भोजपुर ज़िले के तरारी और गया ज़िले के इमामगंज व बेलागंज विधानसभा क्षेत्रों में 13 नवंबर को वोटिंग होगी। यहाँ नामांकन की आखिरी तारीख 25 अक्टूबर है। वहीं वोटों की गिनती 23 नवंबर को होगी।


इन चारों विधानसभा क्षेत्रों के विधायक अब लोकसभा सांसद बन गए हैं। इमामगंज (Imamganj Bypoll) से जीतन राम मांझी, गया लोकसभा से सांसद बने हैं, बेलागंज (Belganj Bypoll) के सुरेंद्र यादव (Surendra Yadav), जहानाबाद से चुने गए, रामगढ़ (Ramgarh) के सुधाकर सिंह, बक्सर से सांसद बने और तरारी (Tarari) के सुदामा प्रसाद, आरा से सांसद चुने गए हैं।

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इन चारों विधानसभा क्षेत्रों में बेलागंज एक ऐसा विधानसभा क्षेत्र है, जहाँ पिछले 34 सालों से एक ही नेता की तूती बोल रही है।


सुरेंद्र यादव और बेलागंज

राजद नेता सुरेंद्र यादव 1990 से लगातार बेलागंज विधानसभा क्षेत्र से विधानसभा चुनाव जीत रहे हैं। 1990 व 1995 में जनता दल के टिकट पर चुनाव लड़ने वाले सुरेंद्र यादव का मुक़ाबला अभिराम शर्मा (1990 में निर्दलीय, 1995 में कांग्रेस) से हुआ। 1998 में सुरेंद्र यादव, जहानाबाद से लोकसभा चुनाव जीत गए, जिसके बाद यहाँ हुए उपचुनाव में राजद के ही महेश सिंह यादव विधायक बने। लेकिन, अगले ही साल हुए लोकसभा चुनाव में सुरेंद्र यादव की हार हो गई।

सुरेंद्र यादव वापस 2000 में बेलागंज से चुनाव लड़ने आ गए और करीब 23,000 वोटों के बड़े अंतर से भाजपा के कृष्ण सिंह को हराया। साल 2004 के लोकसभा चुनाव में पार्टी ने सांसदी का टिकट नहीं दिया, लेकिन आगे 2009 से लगातार जहानाबाद लोकसभा क्षेत्र से उन्हें राजद ने चुनाव लड़वाया। वह जहानाबाद से लोकसभा चुनाव हारते रहे और बेलागंज से विधानसभा चुनाव जीतते रहे। आखिरकार, 26 वर्षों के बाद 2024 लोकसभा चुनाव में वह वापस सांसद बने।

अब उनके बेटे विश्वनाथ यादव (Vishwanath Yadav) बेलागंज से उपचुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं।

        वर्ष          विजेता    वोट        दूसरा स्थान    वोट      तीसरा स्थान     वोट
1990  सुरेंद्र यादव (JD)  55,799  अभिराम शर्मा (IND)  51,297  जीतेन्द्र मोहन सिंह (BJP)  14,685
1995  सुरेंद्र यादव (JD)  62,548  अभिराम शर्मा (INC)  33,833  उपेंद्र नाथ वर्मा (SAP)  1,692
1998 उपचुनाव  महेश यादव (JD)  38,027  कृष्ण सिंह (BJP)  15,455  अभिराम शर्मा (INC)  12,946
2000  सुरेंद्र यादव (RJD)  61,840  कृष्ण सिंह (BJP)  39,106  राज बल्लभ प्रसाद (IND)  18,566
फ़रवरी 2005  सुरेंद्र यादव (RJD)  59,154  मो. अमजद (LJP)  35,911  सुनील कुमार (SP)  3,156
नवंबर 2005  सुरेंद्र यादव (RJD)  33,475  मो. अमजद (JDU)  27,125  शिव प्रसाद सिंह (LJP)  3,893
2010  सुरेंद्र यादव (RJD)  53,079  मो. अमजद (JDU)  48,441  बबलू रविदास (शिवसेना)  8,942
2015  सुरेंद्र यादव (RJD)  71,067  शारिम अली (HAMS)  40,726  कुमार जीतेन्द्र (CPI)  8,114
2020  सुरेंद्र यादव (RJD)  79,708  अभय कुशवाहा (JDU)  55,745  रामश्रय शर्मा (LJP)  12,005

2005 से 2015 तक के चुनाव

बेलागंज विधानसभा क्षेत्र (Belaganj Assembly Constituency) में बेलागंज प्रखंड और गया सदर प्रखंड का बड़ा हिस्सा आता है। अनुमानों के अनुसार यहाँ 15-16 प्रतिशत मुस्लिम आबादी है और करीब इतनी ही आबादी यादव जाति की है। 10-11 प्रतिशत मुसहर जाति और करीब 6 प्रतिशत पासवान जाति के लोग हैं।

यही वजह है कि 2005 के बाद सुरेंद्र यादव को लगातार मुस्लिम उम्मीदवारों ने टक्कर दी है। फ़रवरी 2005 के विधानसभा चुनाव में उनका सामना लोजपा के मो. अमजद से हुआ। जदयू के टिकट पर चुनाव लड़ने वाले मो. अमजद और यादव के बीच अक्टूबर 2005 में भी भिड़ंत हुई और मात्र 6,000 वोटों से हार-जीत का फैसला हुआ। 2010 में मुक़ाबला करीब आ गया और लगभग 4,500 वोटों अंतर से उन्होंने अमजद को हराया।

2015 के विधानसभा चुनाव में राजद-जदयू के गठबंधन में आने के बाद भाजपा के नेतृत्व वाले NDA ने ये सीट जीतन राम मांझी की पार्टी हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा (सेकुलर) यानी हम (सेकुलर) को दे दी। हम से चुनाव लड़ रहे शारिम अली से उनका मुक़ाबला हुआ और वह आसानी से चुनाव जीत गए।

2020 का चुनाव

2020 का विधानसभा चुनाव जदयू ने जातीय समीकरण के विरुद्ध एक कुशवाहा उम्मीदवार अभय कुमार सिन्हा उर्फ अभय कुशवाहा पर भरोसा जताया। इस चुनाव में राजद ने फिर से सुरेंद्र यादव को उतारा। यादव ने 79,708 वोट लाकर करीब 24,000 मतों से कुशवाहा को हरा दिया।

फिलहाल अभय कुशवाहा, राजद के टिकट पर औरंगाबाद से सांसद हैं।

2020 के चुनाव में निर्दलीय लड़ रहे शारिम अली को सिर्फ 4,411 वोट मिले, वहीं एक अन्य मुस्लिम उम्मीदवार मोहम्मद एकराम को 3,803 वोट हासिल हुए।

उपचुनाव के दावेदार

इस उपचुनाव में सुरेंद्र यादव के बेटे विश्वनाथ यादव, राजद से दावेदारी कर रहे हैं। वहीं, पूर्व एमएलसी मनोरमा देवी (Manorama Devi) और मोहम्मद ज़ाहिद हुसैन (Mohammad Zahid Hussain) जदयू से टिकट के प्रयास में हैं। दूसरी तरफ, प्रशांत किशोर की जन सुराज पार्टी (Jan Suraaj Party) और असदुद्दीन ओवैसी की AIMIM भी यहाँ से अपना उम्मीदवार उतार सकते हैं।

मनोरम देवी गया-जहानाबाद-अरवल के स्थानीय निकाय क्षेत्र से दो बार एमएलसी रही हैं। 2003 में उन्होंने ये चुनाव निर्दलीय जीता था, वहीं 2015 में वह जदयू के टिकट पर एमएलसी बनी थीं।

उनके पति स्वर्गीय बिंदेश्वरी प्रसाद यादव उर्फ़ बिन्दी यादव, गया जिला परिषद के पूर्व अध्यक्ष थे। उन्होंने 2010 में राजद के टिकट पर गया ज़िले के गुरुआ विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ा था। इस चुनाव में उन्हें भाजपा के सुरेंद्र प्रसाद सिन्हा ने हराया था। इससे पहले अक्टूबर 2005 के विधानसभा चुनाव में उन्होंने गया मुफस्सिल विधानसभा क्षेत्र से निर्दलीय चुनाव लड़ा था, जिसमें मात्र 2,665 वोटों से उनकी हार हुई थी। जुलाई 2020 में उनका निधन हो गया।

मनोरमा देवी ने 2020 में गया ज़िले के अतरी विधानसभा क्षेत्र से जदयू के टिकट पर चुनाव लड़ा था, लेकिन करीब 8,000 वोटों से चुनाव हार गयी थीं।

वह, गया ज़िले के मोहनपुर प्रखंड से प्रमुख व पंचायत समिति रह चुकी हैं। उनके बेटे रॉकी यादव (Rocky Yadav) लगातार बेलागंज विधानसभा क्षेत्र का दौरा कर रहे हैं।

वहीं, जदयू के टिकट के दूसरे दावेदार मोहम्मद ज़ाहिद हुसैन एक सामाजिक कार्यकर्ता हैं। वह पटना में मेडग्राफ नामक हॉस्पिटल चलाते हैं। उन्होंने 2014 में नवादा लोकसभा क्षेत्र से तृणमूल कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ा था। इस चुनाव में उन्हें सिर्फ 3,138 वोट हासिल हुए थे।

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तंजील आसिफ एक मल्टीमीडिया पत्रकार-सह-उद्यमी हैं। वह 'मैं मीडिया' के संस्थापक और सीईओ हैं। समय-समय पर अन्य प्रकाशनों के लिए भी सीमांचल से ख़बरें लिखते रहे हैं। उनकी ख़बरें The Wire, The Quint, Outlook Magazine, Two Circles, the Milli Gazette आदि में छप चुकी हैं। तंज़ील एक Josh Talks स्पीकर, एक इंजीनियर और एक पार्ट टाइम कवि भी हैं। उन्होंने दिल्ली के भारतीय जन संचार संस्थान (IIMC) से मीडिया की पढ़ाई और जामिआ मिलिया इस्लामिआ से B.Tech की पढ़ाई की है।

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